भारतीय संसद ने नया नागरिक डेटा संरक्षण विधेयक पारित किया है। यह विधेयक नागरिकों के डेटा संरक्षित करने और उनकी गोपनीयता सुनिश्चित करने के लिए बनाया गया है। इसका उद्देश्य व्यक्तिगत डेटा के दुरुपयोग को रोकना और डेटा सुरक्षा के लिए एक सशक्त कानूनी ढांचा प्रदान करना है।
यह नया कानून डेटा संग्रहण, उपयोग, और साझा करने के लिए स्पष्ट नियम निर्धारित करता है। इसके तहत, डेटा नियंत्रकों और प्रोसेसरों को कड़े नियमों का पालन करना अनिवार्य होगा। नागरिकों को अपने डेटा पर अधिक नियंत्रण और अधिकार प्राप्त होंगे।
मुख्य विशेषताएं:
- डेटा सुरक्षा अधिकारियों की नियुक्ति
- डेटा प्रसंस्करण के लिए स्पष्ट सहमति जरूरी
- डेटा उल्लंघन की स्थिति में त्वरित सूचना प्रणाली
- जुर्माने और दंडों का प्रावधान
- सरकार को कुछ विशेष परिस्थितियों में डेटा तक पहुंच का अधिकार
विशेषज्ञों का मानना है कि यह विधेयक भारत में डेटा सुरक्षा को मजबूती देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा और डिजिटल युग में नागरिकों के अधिकारों की रक्षा करेगा।
ज़्यादा कहानियां
9 सितंबर 2025: देश और दुनिया से मुख्य घटनाओं का त्वरित अवलोकन
अनन्या पांडे ने भतीजे आहान पांडे के ‘सइयारा’ में सफल पदार्पण पर जताई गर्व
चलचित्र ‘सैयारा’ में जाहिर हुआ एहसान आबांह पांडे का प्रतिभा दम